गुणवत्ता मंथन और सीईओ राउंडटेबल में शामिल हुए फेलिक्स हॉस्पिटल के चेयरमैन डॉ. डी.के. गुप्ता

- सुरक्षित, विश्वसनीय और किफायती उपचार देने की कही बात 


नोएडा (अमन इंडिया) । नई दिल्ली के द ललित होटल में नेशनल एक्रेडिटेशन बोर्ड फॉर हॉस्पिटल्स एंड हेल्थकेयर प्रोवाइडर्स (एनएबीएच) द्वारा आयोजित गुणवत्ता मंथन और सीईओ राउंडटेबल में देशभर से स्वास्थ्य सेवा क्षेत्र के अग्रणी विशेषज्ञों ने भाग लिया।  इस आयोजन में फेलिक्स हॉस्पिटल, नोएडा के चेयरमैन डॉ. डी.के. गुप्ता भी आमंत्रित थे, जिन्होंने स्वास्थ्य सेवा क्षेत्र में गुणवत्ता सुधार और नवाचार की आवश्यकता पर अपने विचार साझा किए। इस बैठक का उद्देश्य भारत में स्वास्थ्य सेवा की गुणवत्ता और मरीजों की सुरक्षा को और अधिक सशक्त बनाना था।  डॉ. डी.के. गुप्ता ने कहा कि स्वास्थ्य सेवा क्षेत्र में गुणवत्ता सुधार केवल प्रमाणन प्राप्त करने तक सीमित नहीं रहना चाहिए, बल्कि यह मरीजों को सुरक्षित, विश्वसनीय और किफायती उपचार देने की दिशा में निरंतर प्रयास का हिस्सा होना चाहिए। इस तरह की पहल से अस्पतालों को वैश्विक स्तर पर प्रतिस्पर्धा करने में मदद मिलेगी और वे उच्चतम गुणवत्ता की सेवाएं प्रदान कर सकेंगे। स्वास्थ्य सेवा क्षेत्र में डिजिटल परिवर्तन का महत्व बढ़ रहा है और इसके माध्यम से अस्पताल अपनी सेवाओं को और अधिक प्रभावी बना सकते हैं। उन्होंने कहा कि "डिजिटल स्वास्थ्य प्रणाली, ई-मेडिकल रिकॉर्ड्स और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस जैसी तकनीकों के उपयोग से मरीजों की देखभाल में व्यापक सुधार किया जा सकता है 

एनएबीएच, जो कि गुणवत्ता परिषद का एक घटक बोर्ड है, वर्ष 2005 से भारत में स्वास्थ्य सेवा मानकों को मजबूत करने और मरीजों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए कार्यरत है। "विकसित भारत @2047" के लक्ष्य को ध्यान में रखते हुए, एनएबीएच ने गुणवत्ता मंथन नामक एक अनूठी पहल शुरू की है। इसके तहत, एनएबीएच-प्रमाणित अस्पतालों और स्वास्थ्य संस्थानों के शीर्ष नेतृत्व को एक मंच प्रदान किया जाता है, जहां वे अपने अनुभव साझा कर सकते हैं और स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार के लिए रणनीति बना सकते हैं। इस राउंडटेबल बैठक का मुख्य उद्देश्य स्वास्थ्य सेवा क्षेत्र में गुणवत्ता मानकों को सशक्त बनाना, मौजूदा चुनौतियों पर चर्चा करना और नवाचारों को प्रोत्साहित करना था। इस पहल के माध्यम से अस्पतालों और स्वास्थ्य संगठनों को वैश्विक स्तर की सर्वोत्तम प्रक्रियाओं को अपनाने में सहायता मिलेगी। बैठक में अस्पतालों में मरीजों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए नए उपायों को अपनाने पर चर्चा हुई।  स्वास्थ्य सेवाओं को और अधिक प्रभावी एवं उच्च गुणवत्ता वाला बनाने के लिए प्रमाणन मानकों को मजबूत करने की रणनीति बनाई गईं। डिजिटल हेल्थकेयर, टेलीमेडिसिन और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस जैसी नई तकनीकों को स्वास्थ्य क्षेत्र में कैसे शामिल किया जाए, इस पर विचार किया गया। भारतीय अस्पतालों को वैश्विक स्तर के गुणवत्ता मानकों के अनुरूप बनाने पर चर्चा हुई, ताकि चिकित्सा पर्यटन को बढ़ावा मिल सके। इस दौरान एनएबीएच के सीईओ डॉ. अतुल मोहन कोचर ने भविष्य की योजनाओं पर प्रकाश डालते हुए कहा कि एनएबीएच न केवल अस्पतालों के प्रमाणन पर ध्यान केंद्रित कर रहा है, बल्कि स्वास्थ्य सेवा में नवाचार और तकनीकी उन्नति को भी प्रोत्साहित कर रहा है। उन्होंने बताया कि भारत में अस्पतालों और स्वास्थ्य सेवा प्रदाताओं को गुणवत्ता सुधार के लिए निरंतर मार्गदर्शन प्रदान किया जाएगा और उन्हें वैश्विक बेंचमार्क के अनुरूप लाने के प्रयास किए जाएंगे।